लैंड रजिस्ट्री नियम 2025 में 1 नवंबर से 4 बड़े बदलाव – हर प्रॉपर्टी खरीदार और विक्रेता के लिए जरूरी खबर

Land Registry Rule Changes – लैंड रजिस्ट्री नियम 2025 में 1 नवंबर से बड़े बदलाव होने जा रहे हैं, जो हर प्रॉपर्टी खरीदार और विक्रेता के लिए बेहद महत्वपूर्ण हैं। नए नियमों का उद्देश्य रियल एस्टेट लेनदेन को पारदर्शी और तेज़ बनाना है। इन बदलावों से जमीन और मकान की रजिस्ट्री प्रक्रिया में समय की बचत होगी और धोखाधड़ी के मामलों में कमी आने की उम्मीद है। सरकार का मानना है कि इन सुधारों से डिजिटल रिकॉर्ड मजबूत होंगे और विवादों का समाधान आसान होगा। इसलिए, जो लोग नवंबर के बाद संपत्ति खरीदने या बेचने की योजना बना रहे हैं, उन्हें इन नियमों की पूरी जानकारी रखना आवश्यक है।

Land Registry Changes
Land Registry Changes

डिजिटल वेरिफिकेशन अनिवार्य

नए नियमों के तहत अब सभी प्रॉपर्टी रजिस्ट्री के लिए डिजिटल वेरिफिकेशन अनिवार्य कर दिया जाएगा। खरीदार और विक्रेता दोनों को आधार कार्ड, पैन कार्ड और अन्य आवश्यक दस्तावेज ऑनलाइन सत्यापित करवाने होंगे। इस प्रक्रिया से न केवल फर्जीवाड़े पर रोक लगेगी, बल्कि पूरे रजिस्ट्री सिस्टम में पारदर्शिता भी आएगी। इससे उन मामलों में भी मदद मिलेगी, जहां संपत्ति से जुड़े दस्तावेजों पर विवाद होता है। डिजिटल वेरिफिकेशन से रजिस्ट्री की प्रक्रिया तेज और सुरक्षित बनेगी, जिससे दोनों पक्षों का समय और धन बचेगा।

ऑनलाइन भुगतान प्रणाली

लैंड रजिस्ट्री नियम 2025 में अब ऑनलाइन भुगतान प्रणाली को अनिवार्य किया जा रहा है। पहले नकद या चेक से भुगतान आम था, लेकिन अब सभी रजिस्ट्री फीस, स्टांप ड्यूटी और अन्य चार्ज केवल डिजिटल मोड से ही स्वीकार होंगे। यह बदलाव भ्रष्टाचार को कम करेगा और ट्रांजेक्शन का रिकॉर्ड हमेशा के लिए सुरक्षित रहेगा। साथ ही, इससे लेनदेन में पारदर्शिता बढ़ेगी और ट्रैकिंग आसान होगी। खरीदार और विक्रेता दोनों के लिए यह सुविधा समय और संसाधनों की बचत के साथ सुरक्षा भी प्रदान करेगी, जिससे पूरे रियल एस्टेट सेक्टर में भरोसा बढ़ेगा।

रियल-टाइम रिकॉर्ड अपडेट

नए नियम लागू होने के बाद, रजिस्ट्री होने के तुरंत बाद रिकॉर्ड रियल-टाइम में अपडेट हो जाएंगे। पहले अक्सर रजिस्ट्री और रिकॉर्ड अपडेट के बीच लंबा अंतराल होता था, जिससे विवाद और भ्रम की स्थिति पैदा होती थी। अब डिजिटल सिस्टम के जरिए जैसे ही रजिस्ट्री पूरी होगी, उसी समय से उसका डेटा आधिकारिक रिकॉर्ड में दर्ज हो जाएगा। यह सुविधा न केवल खरीदार और विक्रेता को भरोसा देगी, बल्कि बिचौलियों द्वारा होने वाले गलत खेल को भी रोक पाएगी। इस बदलाव से पारदर्शिता और विश्वास का स्तर काफी बढ़ जाएगा।

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ई-स्टांपिंग सुविधा

लैंड रजिस्ट्री नियम 2025 में ई-स्टांपिंग की सुविधा भी लागू होगी, जिससे स्टांप पेपर की खरीद और इस्तेमाल पूरी तरह डिजिटल हो जाएगी। इससे नकली स्टांप पेपर के मामलों पर पूरी तरह रोक लग जाएगी। खरीदार और विक्रेता को अब बैंक या अधिकृत केंद्रों पर जाकर स्टांप पेपर खरीदने की जरूरत नहीं होगी, बल्कि वे इसे सीधे सरकारी पोर्टल से ऑनलाइन खरीद और डाउनलोड कर सकेंगे। यह न केवल समय बचाएगा, बल्कि लागत और धोखाधड़ी के जोखिम को भी कम करेगा। ई-स्टांपिंग से पूरे सिस्टम की विश्वसनीयता बढ़ेगी।

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